बोनसाई
आर्य स्मृति साहित्य सम्मान 2018 से सम्मानित भगवान वैद्य ‘प्रखर’ का संग्रह बोनसाई बोनसाई;भगवान वैद्य’प्रखर’,किताबघर प्रकाशन,4855-56/24,अंसारी रोड, दरियागंज,नई दिल्ली-110002, प्रथम संस्करण: 16...
View Articleप्रकृति-नटी
“माँ , तुम यहाँ अकेले चबूतरे पर? कोई घर में किसी ने कुछ कहा क्या? मैं तुम्हें कब से ढूँढ रहा था । घर चलो, सभी तुम्हारा इंतजार कर रहे हैं । आज तुम्हारा जन्मदिन है । मैं अभी बाजार से तुम्हारे लिए...
View Articleडण्डा
‘‘आज फिर गलत लिखा! बेवकूफ कहीं का! चल बीस बार इसे अपनी कापी में लिख…’’ ‘‘नहीं लिखूँगा!’’ उसके स्वर की कठोरता देखकर मैं दंग रह गया। मैंने पूछा, ‘‘क्यों नहीं लिखोगे?’’ ‘‘पिताजी रोज़ दारू पीकर मारते हैं।...
View Articleयथार्थ और कोमल ध्वनियों की अनुगूंज
निःशब्द नहीं मैं डॉक्टर नीरज सुधांशु का पहला लघुकथा संग्रह है। इन लघुकथाओं में आक्रोश के तेवर हैं, ना बँधी हुई मुठ्ठियों का संसार। यह अपनी कहन और संवेदना में बहुत सहज हैं। व्यथाएँ इनमें भी लहराती...
View Articleभिखारी का धर्म
‘‘अल्लाह के नाम पर कुछ मिल जाए बेटा! मालिक तेरा घर रोशन और आबाद रखेंगे! खुदा तुम्हें बरक़तें देगा बेटा! इस भूखे पर भी रहम खा।’’ भिखारी की आवाज जब काफी देर तक गूँजती रही तो झुंझलाता हुआ घर...
View Articleलघुकथा-अंक
अशोक जैन के संपादन में दृष्टि का ‘समग्र’ लघुकथा विशेषांक।हिन्दी चेतना का आगामी अंक लघुकथा पर केन्द्रित होगा, जिसका सम्पादन श्री सुकेश साहनी जी करेंगे।
View Articleचुनौती
जूनागढ़ रियासत में जबसे वार्षिक गायन प्रतियोगिता की घोषणा हुई थी संगीत प्रेमियों में हलचल मच गई थी। उस्ताद ज़ाकिर खान और पंडित ललित शास्त्री दोनों ही बेजोड़ गायक थे। परन्तु उनमे गहरी...
View Articleनियति स्वीकार
– नहीं… नहीं। कह दिया ना, नहीं खाना है। – खा ले बेटा, जिद नहीं करते। – नहीं बापू। दूसरे निठल्ले मलाई मारा करते हैं और हम किसान इतना खटकर भी…..। …. क्या करेगा, हमारा किस्मत ही ऐसा है। – किस्मत को...
View Articleरिश्ते
शाम सिगरेट के आखिरी कश सी धुआँ हो बुझती जाती है । तेज़ी से जाती कार का चमकता व्हील कवर मुझे यूँ मालूम हो रहा था जैसे चाँद उसमें लपेट दिया गया है और बेरुखी का दर्द लिये वह, पहिए से लिपटा , घिसटता जा...
View Articleबारिश तथा अन्य लघुकथाएँ
बारिश तथा अन्य लघुकथाएँ:सुभाष नीरव किताबघर प्रकाशन, राधाकृशन मार्केट, SBI बैंक के पास, गंगापुर सिटी-322201 ज़िला- सवाई माधोपुर( राजस्थान) मूल्य 195/-संस्करण : जनवरी 2019, पृष्ठ:120 -0-
View Articleएकता
वो बिकुल बदरंग था, बिलकुल असंगत मुद्रा कुछ आधा कुछ अधूरा, बिलकुल भदेस एक हाथ लम्बा एक छोटा एक आँख खुली एक बंद एक कान गायब माथे पर पट्टी आधा सर मुंडा हुआ एक हाथ में प्लास्टर दूसरे हाथ में कटोरा...
View Articleलघुकथाएँ
1-अभिलेख जंगल के एक पौधे ने पुराने दरख़्त से पूछा, ‘दद्दा क्या बात है कि इस साल अब तक आग नहीं लगी जंगल में?’’ ‘‘लगेगी बेटा, अभी गरमी का मौसम गया कहाँ?’’ पौधे ने फिर पूछा,...
View Articleलघुकथा का निबंध
लघुकथा पढ़ने–लिखने में एक शब्द पर वस्तुत: यह दो भावों का गठबंधन है–लघु और कथा। एक–दूसरे के संपूरक। यही लघुकथा की शास्त्रीयता है और इस शास्त्रीयता को आत्मसात किए बगैर लघुकथा की सिद्धि असंभव है। लघुता...
View Articleसंस्कार
“ओके मॉम, चलता हूँ”- मोबाइल पर नजरें गडाए हुए ही बेटे ने कहा। ” अरे बेटा! अभी आए और अभी जाने लगे ,कुछ देर हमारे साथ भी बैठो”- गाँव से मिलने आई बडी दादी ने कहा। सॉरी दादी, फ्रेंड्स की घर पार्टी...
View Articleलघुकथा में संवाद
लघुकथा में एकबीजीय कथानक (कथावस्तु) वर्गीय प्रतिनिधित्व करते हुए न्यूनतम पात्र (चरित्र) व्यंजक संक्षिप्त संवाद, वर्णित परिवेश की संकेतात्मकता, प्रतीकात्मकता, परिस्थिति की विशेषता ,सरल -सहज बोलचाल...
View Articleबारिश तथा अन्य लघुकथाएँ
आलोचक भले ही लघुकथाओं को तवज्जो न देते हों, भले ही वो गद्य में कहानियों का युग होने की बात करते हों; लेकिन फिर भी अनेक लघुकथाकारों ने इस विधा में अपनी पुख्ता उपस्थिति दर्ज की है और अपनी लेखन क्षमता से...
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